माझे काव्यरंग
Thursday, 14 June 2018
शराब
वो शराब भी साथ छोड देती है
जिस के लिये तुम पुरी जेब खाली कर देते हो
गिरा देती है बीच रस्ते मी वो भी,
जब वो समझ जाती है,
तुम अपनो को छोडकर उके पास गाये हो
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